संवाददाता
गाजियाबाद। ऑनलाइन गेम खेलने की आड़ में धर्मांतरण सिंडिकेट चलाने के मुख्य आरोपी खान शहनवाज मकसूद उर्फ बद्दो पर गाजियाबाद पुलिस ने राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (NSA) लगा दी है। गाजियाबाद के जिलाधिकारी राकेश कुमार सिंह ने गुरुवार को रासुका की फाइल पर साइन कर दिए। इसके बाद पुलिस की एक टीम डासना जेल में पहुंची और वहां बंद बद्दो को रासुका में निरुद्ध किया। रासुका आदेश के सभी पेजों पर उसके हस्ताक्षर कराए गए। अब ये फाइल शासन में रासुका बोर्ड को भेजी जाएगी। अगर बोर्ड से रासुका मंजूर हो जाती है तो बद्दो फिलहाल कुछ महीनों तक जेल से बाहर नहीं निकल पाएगा। इससे पहले 12 जुलाई को गाजियाबाद पुलिस बद्दो के साथी अब्दुल रहमान पर भी रासुका लगा चुकी है। दोनों फिलहाल डासना जेल में बंद चल रहे हैं।
क्या है पूरा मामला?
30 मई को गाजियाबाद के राजनगर में रहने वाले एक जैन परिवार ने पुलिस को शिकायत की। बताया कि उनका नाबालिग बेटा घर से पांच बार जिम के नाम पर निकलता है और मस्जिद में नमाज पढ़ने जाता है। गैजेट्स की जांच से पता चला है कि वह मुंबई के बद्दो नामक व्यक्ति के संपर्क में था। वह जाकिर नाइक से भी प्रभावित है।
पुलिस ने इस मामले में मुंबई के खान शहनवाज मकसूद उर्फ बद्दो और गाजियाबाद की मस्जिद के मौलवी अब्दुल रहमान पर FIR दर्ज की। इस केस में 4 जून को अब्दुल रहमान और 11 जून को बद्दो पकड़ा गया। दोनों फिलहाल जेल में बंद हैं। आरोपियों से पूछताछ में खुलासा हुआ कि गाजियाबाद, फरीदाबाद और चंडीगढ़ के चार नाबालिग बच्चों को वे धर्मांतरण की तरफ ले जा चुके थे।
- धर्मांतरण के थे तीन स्टेप, पूरा गेम समझिए…
- पहले स्टेप में एक ऐसा गैंग एक्टिव था जो अन्य धर्मों के नाम से ID बनाकर मोबाइल-कम्प्यूटर पर Fort Nite एप पर गेम्स खेलता था। अगर कुछ लड़के गेम हार जाते थे तो उन्हें कुरान की आयत पढ़वाई जाती थी और फिर उन्हें गेम जिताकर कुरान पर भरोसा दिलाया जाता था।
- सेकेंड स्टेप में Discord App के द्वारा मुस्लिम लड़के हिंदू नाम की यूजर आईडी बनाकर हिंदू लड़कों से चैटिंग करते थे। उन्हें इस्लामिक रीति-रिवाज अपनाने के लिए बहलाते थे।
- तीसरे स्टेज में वे प्रतिबंधित इस्लामिक प्रवक्ता जाकिर नाईक के कुछ वीडियो स्पीच सुनाकर इस्लाम अपनाने के लिए प्रेरित करते थे। साथ ही वे इस्लामिक कल्चर और रीति-रिवाज के संबंध में सारी जानकारी उपलब्ध कराते थे।