महाराष्ट्र। महाराष्ट्र चुनाव के नतीजों में भाजपा और शिवसेना को स्पष्ट बहुमत मिला है और दोनों पार्टियां मिलकर आसानी से सरकार बना लेंगी, लेकिन दोनों पार्टियों के बीच सीएम पोस्ट को लेकर खींचतान जारी है। दरअसल शिवसेना चाहती है कि साझा सत्ता के फार्मूले पर सरकार बने और 2.5 साल फडणवीस और 2.5 साल आदित्य ठाकरे सत्ता संभालें। शिवसेना चीफ उद्धव ठाकरे भी भाजपा पर इसे लेकर खासा दबाव बना रहे हैं। उद्धव ठाकरे ने अपने विधायकों से कह दिया है कि शिवसेना सीएम पोस्ट से कम पर बिल्कुल नहीं मानेगी।
बता दें कि शनिवार को मातोश्री में शिवसेना के विधायकों की बैठक हुई। इस बैठक के दौरान उद्धव ठाकरे से साफ कर दिया कि शिवसेना का लक्ष्य ढाई साल के लिए सीएम पद संभालना है और यदि भाजपा इसके लिए राजी नहीं होती है तो शिवसेना अन्य विकल्पों पर विचार कर सकती है। महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में भाजपा ने 105 और शिवसेना ने 56 सीटों पर जीत दर्ज की है।
शिवसेना विधायक प्रताप सारनाइके ने शनिवार को पार्टी विधायकों की बैठक के बाद मीडिया से बात करते हुए कहा कि उद्धव जी ने कहा कि भाजपा अध्यक्ष अमित शाह और मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से सीएम पद को लेकर साझा सत्ता की बात हुई थी। कुछ कारणों की वजह से सीटों का बंटवारा बराबर नहीं हो पाया था, लेकिन अब हमारे लिए साझा सत्ता और सीएम पद अहम हैं। डिप्टी सीएम की पोस्ट हमारे लिए सेकेंडरी है।
शिवसेना विधायकों ने बैठक के दौरान पार्टी चीफ उद्धव ठाकरे को सरकार गठन के मुद्दे पर सभी फैसले लेने के लिए अधिकृत कर दिया है। शिवसेना विधायक प्रताप सारनाइके का कहना है कि जब भाजपा सीएम पद पर सत्ता साझा करने के बारे में लिखित में देगी उसके बाद ही पार्टी कोई फैसला करेगी। शिवसेना विधायक ने कहा कि उद्धव जी ने भाजपा के सत्ता साझा करने के मुद्दे पर राजी नहीं होने पर अन्य विकल्पों पर विचार करने की बात भी कही है।
वहीं भाजपा से जुड़े नेताओं का कहना है कि शिवसेना को सीएम पद देने का कोई सवाल ही नहीं है। महाराष्ट्र चुनावों में भाजपा सबसे बड़ी पार्टी है और इसके साथ ही 17 निर्दलीय विधायकों का समर्थन भी भाजपा के पास है, क्योंकि अधिकतर ये पार्टी से बागी होकर चुनाव लड़ने वाले ही नेता हैं।
भाजपा नेताओं का कहना है कि सत्ता साझा करने की बात सिर्फ शिवसेना की दबाव बनाने की कोशिश है, ताकि उसे सरकार में ज्यादा मंत्री पद मिल सकें। बता दें कि मुंबई में कई जगह शिवसेना समर्थकों ने आदित्य ठाकरे को राज्य का अगला सीएम प्रोजेक्ट करना भी शुरु कर दिया है और जगह-जगह इसे लेकर पोस्टर भी लगाए गए हैं।