विशेष संवाददाता
नई दिल्ली । लोकसभा चुनाव की तारीखों का संभवत: कल ऐलान हो सकता है। भाजपा-कांग्रेस समेत कई दलों ने उम्मीदवारों की एक से अधिक सूची भी जारी कर दी है। राजधानी दिल्ली में भी मुकाबले की तस्वीर काफी हद तक साफ हो चुकी है। भाजपा ने जहां सातों सीटों पर अपने प्रत्याशी का ऐलान कर दिया है तो आम आदमी पार्टी अपने कोटे की चार सीटों पर सबसे पहले उम्मीदवार उतार चुकी है। हालांकि, कांग्रेस ने तीन सीटों पर अपने लड़ाकों का नाम नहीं बताया है।
पहली बार दिल्ली में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस ने एक साथ मिलकर भाजपा से मुकाबले के लिए चुनाव पूर्व गठबंधन किया है। इस एकता में कितना बल है और भाजपा को इसका कितना नुकसान होगा यह तो चुनाव के बाद मतगणना के दिन ही पता चलेगा। फिलहाल एक ताजा सर्वे में जो आकलन किया गया है उसके मुताबिक लगातार तीसरे चुनाव में भाजपा दिल्ली में परचम लहराने जा रही है। इससे पहले 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में भी भाजपा ने सभी सातों सीटों पर कब्जा किया है।
क्या है ताजा सर्वे का अनुमान
एबीपी न्यूज और सी-वोटर की ओर से गुरुवार शाम प्रसारित किए गए सर्वे के मुताबिक मौजूदा लोकसभा चुनाव में भी भाजपा दिल्ली की सभी सात लोकसभा सीटों पर जीत हासिल कर सकती है, जबकि कांग्रेस और आप के गठबंधन को खाली हाथ रहना पड़ सकता है।
वोट पर्सेंट में बहुत बड़ा फासला
आप और कांग्रेस एक साथ मिलकर भी भाजपा से मुकाबले में बहुत पीछे नजर आ रहे हैं। सर्वे का अनुमान है कि भाजपा पिछले लोकसभा चुनाव से भी एक पर्सेंट अधिक वोट हासिल कर सकती है। भाजपा को 57 फीसदी वोट शेयर मिलने की संभावना जाहिर की गई है। वहीं आप और कांग्रेस गठबंधन को 36 फीसदी वोट मिलने की बात कही गई है। ओपनियन पोल में इंडिया गठबंधन के मुकाबले भाजपा को 21 पर्सेंट की बढ़त हासिल है। अन्य के खाते में 7 फीसदी वोट जाने की बात कही गई है।