विशेष संवाददाता
गाजियाबाद । गाजियाबाद में कूड़ा संकट गहराने के बाद शहर में कूड़े के ढेर लगने शुरू हो गए हैं गाजियाबाद स्थित मोरटा साइट पर जहां नगर निगम कूड़ा डाला जाता था उस जमीन का अनुबंध 30 जून को खत्म होने के बाद शहर से कूड़ा नहीं उठ रहा है। जमीन का मालिक अपनी नई शर्तों पर अनुबंध करना चाहता है। जो निगम के लिए काफी घाटे का सौदा साबित हो रहा है। ऐसे में कूड़ा निस्तारण के लिए तय की गई जमीन के मालिक ने अपनी प्रॉपर्टी पर ताला डाल दिया है। जिसके बाद सुबह कूड़ा लेकर पहुंची गाड़ियां बैरंग लौट रही है।
शहर के हालात हो रहे बदतरशहर में डोर टू डोर जाने वाली निगम की गाड़ियां घरों से कूड़ा उठाने नहीं पहुंच रही है। बता दें कि शहर क्षेत्र से प्रतिदिन करीब 1400 मीट्रिक टन कूड़ा निकलता है। कूड़ा न उठने से क्षेत्र में व्यवस्था चरमरा गई है। शहरवासी स्थानीय पार्षदों से जानकारी चाहते है कि कब तक कूडे का स्थाई समाधान होगा। लेकिन सच्चाई है कि हालात कब तक सुधरेंगे यह किसी को नही मालूम यदि जल्दी कूड़ा नहीं उठा तो शहर में स्थिति काफी विकट हो जाएगी । शहरवासियों की इसी समस्या को लेकर विशेष खबर के संवाददाता गाजियाबाद मेयर सुनीता दयाल से मिले और गाजियाबाद की आवाज को उठाया।
मेयर ने निगम अधिकारियों को दिए निर्देश
गाजियाबाद शहर को स्वच्छ रखने की सीधी जिम्मेदारी नगर निगम की है और गाजियाबाद की मेयर सुनीता दयाल ने बताया कि जिस प्रकार की समस्या सामने आ रही है। उससे जल्द ही निपटा जाएगा। क्योंकि वर्तमान में जिस कंपनी जिरकाम के पास कूड़ा निपटान का टेंडर था। उसे समाप्त कर दिया गया है। इसके स्थान पर नई कंपनी को टेंडर दिया जाएगा। लेकिन इस प्रक्रिया में समय लगेगा। इसलिए फिलहाल नगर निगम गाजियाबाद के अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि जल्द से जल्द कूड़ा निस्तारण के लिए नई जगह की खोज की जाए। इसके लिए टेंडर प्रक्रिया निकालने की कार्यवाही शुरू हो चुकी है। जगह सुनिश्चित होने के बाद निगम में लगे सफाई कर्मियों को जिम्मेदारी देकर युद्ध स्तर पर शहर में जगह-जगह बन रहे कूड़े के ढेर को समाप्त किया जाएगा।
मोरटा गांव स्थित जगह के मालिक से चल रही बातचीत
मेयर सुनीता दयाल ने आगे बताया कि गाजियाबाद स्थित मोरटा गांव में कूड़ा निस्तारण के लिए बनी जगह के मालिक से भी बात चल रही है। शहर में पहले से संचालित इस जगह को भी फिर से प्रयोग में लाया जा सकता है। उन्होंने बताया कि गाजियाबाद में गाजीपुर की तर्ज पर कूड़े का पहाड़ नही बनने दिया जाएगा। इसके लिए उन्होंने निगम अधिकारियों को निर्देश दिए है। कि जिस जगह का चुनाव किया जाए वहां से कूड़ा सीधे डंपर में लोड कर कूड़े का निस्तारण किया जाए। इसके लिए नई कंपनी को टेंडर दिया जाएगा।
निगम द्वारा किए जा रहे निम्न प्रयास
कूड़ा निपटान के लिए नई कंपनी की तलाश की जा रही है। इसके लिए टेंडर प्रक्रिया का पालन किया जा रहा है। नई जगह की तलाश की जा रही है। जिसके लिए टेंडर प्रक्रिया निकाली जा रही है। नई जगह की घेराबंदी कर कूड़े का निस्तारण किया जाएगा। इस वजह से नजदीक रहने वाले लोगों को इससे निकलने वाले खतरनाक गैस और बैक्टीरिया का सामना ना करना पड़े। शहर में जगह-जगह बने कूड़े के ढेर को समाप्त किया जाएगा। निगम में लगे सफाई कर्मचारियों की निगरानी की जाएगी। युद्ध स्तर पर कूड़ा उठवाया जाएगा।इस पूरी घटना के लिए जिम्मेदार अधिकारियों को भी जांच कराकर दंडित किया जाएगा।
मेयर मे दिल्ली के एलजी से मिलने का मांगा समय
मेयर सुनीता दयाल ने बताया कि उन्होंने एमसीडी पर भी कार्यवाही करने का मन बनाया है। इसके लिए उन्होंने दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर से मिलने का समय मांगा है। मेयर का कहना है कि गाजियाबाद में डाले गए कूड़े की पूरी जिम्मेदारी एमसीडी ले और गाजियाबाद नगर निगम को हुए नुकसान की भरपाई करे।