विशेष संवाददाता
नई दिल्ली। कोलकाता रेप-मर्डर केस में आज सुप्रीम कोर्ट में सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता में जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की बेंच मामले में सुनवाई की। सुनवाई के दौरान कोलकाता में 31 साल की ट्रेनी महिला डॉक्टर से रेप के बाद हत्या के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला लिया है। डॉक्टरों की सुरक्षा को लेकर नेशनल टास्क फोर्स का गठन किया है। यह टास्क फोर्स डॉक्टरों की सुरक्षा को लेकर सुझाव देगी।
कोर्ट ने टास्क फोर्स को तीन सप्ताह में अंतरिम रिपोर्ट देने के लिए कहा है। साथ ही दो महीने में फाइनल रिपोर्ट सौंपने के लिए कहा है। टास्क फोर्स में एम्स के निदेशक डॉ. एमश्री निवासन को प्रमुख भूमिका दी गई है। इसके अलावा एम्स जोधपुर निदेशक डॉ. गोवर्धन दत्त, डॉ. डी नागेश्वर रेड्डी, सर्जन वाइस एडमिरल आरती सरीन, डॉ. प्रतिमा मूर्ति, डॉ. सोमिक्रा, डॉ. पद्मा श्रीवास्तव, प्रो.अनीता सक्सेना, पल्लवी सैपले को भी टास्क फोर्स में शामिल किया गया है।
सुप्रीम कोर्ट ने इस केस को स्वत: संज्ञान लिया है। वहीं, डॉक्टर्स के विरोध-प्रदर्शन से पश्चिम बंगाल की स्वास्थ्य सेवाएं ठप हो गई हैं। डॉक्टर्स के संगठन देशभर में प्रोटेस्ट कर रहे हैं। इधर, बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस दिल्ली पहुंच गए हैं। जहां वह राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू,केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा से भी मुलाकात कर सकते हैं। सीजेआई ने पश्चिम बंगाल सरकार और हॉस्पिटल प्रशासन को फटकार लगाई। कहा, एफआईआर देर से क्यों दर्ज हुई। हॉस्पिटल प्रशासन आखिर क्या कर रहा था। सीजेआई ने कहाए, हम डॉक्टरों से आग्रह करते हैं कि काम पर लौटें। हम उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए यहां हैं। हम इसे हाईकोर्ट के लिए नहीं छोड़ेंगे।