विशेष संवाददाता
नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा के नतीजों के बाद शुरू हुआ बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा है. पार्टी के छह विधायक बागी हो गए, जिन्होंने बीजेपी प्रत्याशी को वोट दिया. उसके बाद अब सुक्खू सरकार में शामिल वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य सिंह ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है. वहीं कांग्रेस की ओर से सरकार को बचाने के लिए डैमेज कंट्रोल किया जा रहा है.
हिमाचल में सुक्खू सरकार बचेगी या जाएगी?
माचल प्रदेश में राज्यसभा के नतीजों के बाद शुरू हुआ बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा है. पार्टी के छह विधायक बागी हो गए, जिन्होंने बीजेपी प्रत्याशी को वोट दिया. उसके बाद अब सुक्खू सरकार में शामिल वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य सिंह ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है. वहीं कांग्रेस की ओर से सरकार को बचाने के लिए डैमेज कंट्रोल किया जा रहा है. इसको लेकर कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार और हरियाणा के पूर्व सीएम बीएस हुड्डा को पर्यवेक्षक बनाकर हिमाचल भेजा गया है. सूत्रों की मानें तो कांग्रेस आलाकमान की ओर से स्पष्ट निर्देश हैं कि किसी भी सूरत में हिमाचल की सरकार बचनी चाहिए.
हिमाचल प्रदेश में आए कांग्रेस सरकार पर संकट को लेकर जब संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल से सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि हमने अपने पर्यवेक्षकों को शिमला भेजा है, जब वो वापस आएं तो उसके बाद बताते हैं. वहीं जब उनसे सीएम सुक्खू के इस्तीफे को लेकर सवाल पूछा गया तो इस पर उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया.
कांग्रेस के विधायक जनादेश का सम्मान करेंगे: डीके शिवकुमार
हिमाचल संकट से पार पाने के लिए कांग्रेस की ओर से पर्यवेक्षक बनाकर भेजे गए कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार ने कहा, “कांग्रेस आलाकमान के निर्देश पर मैं शिमला पहुंच रहा हूं, किसी भी अफवाह पर ध्यान देने की जरूरत नहीं है क्योंकि मुझे विश्वास है कि कांग्रेस के विधायक पार्टी के प्रति वफादार रहेंगे और जो जनादेश दिया गया है, उसके साथ रहेंगे. हालांकि जिस पर सवाल उठाया जाना चाहिए और चिंता की बात ये है कि सत्ता हासिल करने के मामले में बीजेपी किस हद तक जा रही है. इस प्रक्रिया में जानबूझकर लोकतंत्र और सार्वजनिक जनादेश को कुचने का प्रयास कर रही है.
हिमाचल प्रदेश में सियासी तापमान इतना हाई है कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की कुर्सी इसकी जद में आती हुई दिखाई दे रही है. कांग्रेस की ओर से भेजे गए केंद्रीय पर्यवेक्षकों के सामने सुखविंदर सिंह सुक्खू ने अपने इस्तीफे की पेशकश कर दी है. सीएम सुक्खू ने विधायकों की बढ़ती नाराजगी को देखते हुए ये फैसला लिया है. हालांकि अबतक इस पर कांग्रेस आलाकमान की ओर से कोई फैसला नहीं लिया गया है.
सीएम सुक्खू ने इस्तीफे की पेशकश की
हिमाचल कांग्रेस में उठापठक का दौर इस तरह चलेगा, इसकी कल्पना किसी ने नहीं की थी. पहले वीरभद्र सिंह के बेटे ने अपने पिता का अपमान बताते हुए मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था, उसके बाद अब सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भी इस्तीफे की पेशकश कर दी है. सूत्रों की मानें तो सुक्खू ने सरकार को बचाने के लिए पार्टी की ओर से भेजे गए पर्यवेक्षकों के सामने अपने इस्तीफे की पेशकश की है.
विक्रमादित्य सिंह के इस्तीफे को लेकर राज्यसभा चुनाव जीतने वाले बीजेपी उम्मीदवार हर्ष महाजन ने कहा, “उन्होंने जो कुछ भी कहा, वो पूरी तरह सही है. मैं उनसे पूरी तरह सहमत हूं. वह वीरभद्र सिंह के बेटे हैं और हिमाचल के यूथ आइकॉन हैं. उन्होंने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि किस तरह उनके पिता और उन्हें अपमानित किया गया, उसके बाद उनके पास क्या विकल्प था? उन्होंने जो भी किया नैतिकता के आधार पर सही किया.
दूसरी और हिमाचल प्रदेश में चल रही सियासी गहमागहमी के बीच कांग्रेस के छह बागी विधायक शिमला वापस लौट आए हैं. ये विधायक राज्यसभा चुनाव में वोटिंग के बाद हरियाणा के पंचकूला चले गए थे, जहां से चॉपर के जरिए इन्हें वापस लाया गया है. वहीं इन विधायकों ने शिमला वापसी के बाद कहा कि अब हम बीजेपी के साथ हैं.
बीजेपी ने राज्यपाल से मिलने के लिए फिर मांगा समय
विधानसभा स्पीकर ने बीजेपी के 15 विधायकों को सदन की कार्यवाही से सस्पेंड कर दिया है, बावजूद इसके बीजेपी के विधायक सदन के अंदर ही हैं, उन्हें वहां से हटाने के लिए मार्शल बुलाए गए. इस बीच बीजेपी की ओर से राजभवन में राज्यपाल से मिलने के लिए एक बार फिर समय मांगा है. हिमाचल प्रदेश में स्पीकर ने बीजेपी के 15 विधायकों को सदन की कार्यवाही से सस्पेंड करने के बाद बीजेपी विधायकों ने राज्यपाल से मुलाकात के लिए समय मांगा है.
हिमाचल प्रदेश में चल रहे सियासी घमासान के बारे में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी भी अपनी नजर बनाए हुई हैं. उन्होंने हिमाचल की घटना की पूरी जानकारी कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को दी है. सूत्रों के मुताबिक, उन्होंने बताया कि कुछ विधायकों ने उनसे बात की है. विक्रमादित्य सिंह ने मंगलवार को प्रियंका गांधी से बात की थी. प्रियंका इस पर पूरी नजर बनाए हुए हैं. वह लगातार सुक्खू और राजीव शुक्ला से भी लगातार संपर्क में हैं.