संवाददाता
नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने कुख्यात टिल्लू ताजपुरिया गिरोह के एक शातिर शूटर को गिरफ्तार किया गया है। उसके कब्जे से एक ऑटामैटिक पिस्तौल व चार जिंदा कारतूस सहित बरामद किए गए है । पकडा गया बदमाश अपने प्रतिद्वंद्वी गोगी गिरोह के एक सदस्य की सनसनीखेज हत्या के मामले सहित वाहन चोरी, डकैती, जबरन वसूली, हथियार अधिनियम आदि के छह अन्य मामलों में पहले भी गिरफ्तार हो चुका है।
नार्दन रेंज स्पेशल सेल के डीसीपी मनोज सी ने बताया कि एसीपी राहुल कुमार सिंह की टीम के इंसपेक्टर पूरन पंत, कुलबीर, रवि तुषीर, ब्रह्म प्रकाश और विक्रम की देखरेख में पुलिस ने जिस बदमाश गको गिरफ्तार किया उसकी पहचान कुख्यात टिल्लू ताजपुरिया गिरोह के एक शातिर शार्प शूटर शिवम उर्फ नितेश उर्फ भूमि के रूप में हुई जो मूलत: नरेला, दिल्ली का रहने वाला है । उसके खिलाफ दिल्ली और हरियाणा क्षेत्र में कई अपराधिक मामले दर्ज हैं लेकिन वह अदालत की तारीखों पर उपस्थित नही हो रहा था जिस कारण उसके खिलाफ एनबीडब्ल्यू वारंअ जारी किया गया था।
पुलिस टीम को सूत्रों से मिली जानकारी थी कि शिवम जमानत पर छूटे अपने पुराने सहयोगियों और जेल में बंद कैदियों के साथ मिलकर दिल्ली-एनसीआर में कैश लूट करने के लिए अपना गिरोह बनाने की फिराक में था। इस मकसद से उसने गोला-बारूद के साथ आग्नेयास्त्र भी खरीदे हैं।
स्पेशल सेल नॉर्दर्न रेंज की टीम को शिवम उर्फ नितेश उर्फ भूमि के संजय गांधी ट्रांसपोर्ट नगर, दिल्ली में आने की पुख्ता जानकारी मिली। जिसके बाद पुलिस ने जाल बिछाकर उसके पकड लिया। उसके कब्जे से 7.65 कैलिबर की चार जिंदा कारतूस के साथ एक अत्याधुनिक पिस्तौल बरामद की गई।
पूछताछ में पता चला कि शिवम उर्फ नितेश मूल रूप से गांव अनखपुर, एटा, यूपी का रहने वाला है। स्कूल छोड़ने के बाद, वह बुरी संगत में पड़ गया और 2012 में नरेला पुलिस ने किशोर उम्र में उसे चोरी के एक मामले में उसे गिरफ्तार कर लिया। 2018 में जितेंद्र उर्फ गोगी और टिल्लू ताजपुरिया गिरोह के बीच लंबे समय से चल रहे गैंगवार के कारण, दोनों पक्ष अपने गिरोह को मजबूत करने के लिए स्थानीय लड़कों/अपराधियों को लुभा रहे थे । इसी प्रक्रिया में बाकनेर, नरेला, दिल्ली के मंजीत उर्फ चमरा और मोनू किडोली के माध्यम से शिवम ने भी ने टिल्लू गिरोह से हाथ मिला लिया। इसी बीच गोगी गैंग के एक बदमाश अरमान ने मंजीत उर्फ चमरा से संपर्क किया और उस पर गोगी गैंग के साथ हाथ मिलाने का दबाव डाला। मंजीत ने पक्ष बदलने से इनकार कर दिया, अरमान और गोगी गैंग के अन्य सदस्यों ने मंजीत उर्फ चमरा को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी देना शुरू कर दिया। फिर अगस्त 2018 में मंजीत उर्फ चमरा ने मोनू किढोली के साथ मिलकर दिल्ली के नरेला में अरमान की हत्या कर दी। इस घटना के बाद भागते समय उन्होंने कुंडली क्षेत्र से बंदूक की नोक पर एक बाइक लूट ली और हरियाणा के सोनीपत में एक पटवारी के घर पर रंगदारी की धमकी के लिए फायरिंग भी की।
सितंबर 2018 के महीने में शिवम को मंजीत उर्फ चमारा और प्रवीण उर्फ पौना के साथ स्पेशल सेल, दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया था। वह सलाखों के पीछे रहे और अगस्त 2023 में ही जमानत पर रिहा हुए।
जमानत पर रिहा होने के बाद, क्योंकि उसे अपने खर्चों को पूरा करने के लिए पैसे की सख्त जरूरत थी, उसने कैतियां करने के लिए फिर से अपने साथियों को एकजुट होने के लिए अपने पुराने सहयोगियों और जेल कैदियों से संपर्क किया जो जमानत पर हैं। इस उद्देश्य से उसने हथियार भी खरीदे और अदालत की तारीखों से बचना शुरू कर दिया। एक करोड़ से अधिक की डकैती डालने के लिए उसने कुछ खास टारगेट चुने हैं।