संवाददाता
नई दिल्ली। दिल्ली के आउटर जिले में रानी बाग इलाके में लुधियाना के एक सुनार के दो कर्मचारियों से हुई करोड़ो की लूट के मास्टीर माइंड को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। बाहरी दिल्लीर जिला पुलिस ने पंजाब की लुधियाना पुलिस के सहयोग से दस करोड सोने की लूट के मास्टीर माइंड सुशील कुमार टोपी को सरहिंद इलाके से गिरफ्तार किया है। टोपी पर 18 मामले दर्ज हैं।
सुशील टोपी ने CGST इंस्पेक्टर बताकर लुधियाना में न्यू सुभाष नगर के सुनार रविंदर कुमार के 2 कर्मचारियों बलराज सिंह और राजन बावा से एक-एक किलो सोने की 10 प्लेटें लूट ली थी। लूट की ये वारदात बीते 10 जुलाई को हुई जिसका मुकदमा बाहरी दिल्ली जिले के रानी बाग थाने में दर्ज किया गया था। इस लूट में दूसरा कर्मी राजन बाबा भी शामिल था।
आउटर जिले के डीसीपी हरेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि सुशील टोपी निकला को पंजाब के सरहिंद से गिरफ्तार किया गया है। दिल्ली में सीजीएसटी अफसर बनकर दस किलो सोना लूटने की सनसनी खेज वारदात में खन्ना का रहने वाला इंटरनेशनल एंटी खालिस्तानी टेरेरिस्ट फ्रंट (IAKTF) का राष्ट्रीय चेयरमैन कश्मीर गिरी और उसका बेटा राजन बावा भी शामिल है। हांलाकि अभी तक उनकी गिरफ्तारी नहीं हुई है दोनों पुलिस के उनके आवास खटीकां चौक समेत अन्यभ ठिकानों पर पहुंचने से पहले ही वे फरार हो गए।
पकडा गया आरोपी सुशील कुमार टोपी पेशेवर अपराधी है। उसके खिलाफ लुधियाना, हरियाणा और दिल्ली में जबरन वसूली, धोखाधड़ी, जालसाजी, अनैतिक तस्करी, अवैध शराब की तस्करी और पीछा करने सहित कम से कम 18 मामले दर्ज हैं। 2020 में कुछ महीना पहले उस पर कुछ लोगों ने गोलीबारी कर जानलेवा हमला किया था जिसके बाद उसे अदालत के आदेश पर 2 गनमैन भी मुहैया करवाए गए थे, लेकिन अब वह कई मामलों में वांटेड था। आरोपी सुशील कुमार उर्फ टोपी लुधियाना के ही ईशर नगर का रहने वाला है। आरोपी टोपी ने एक बार जिला न्यायालय परिसर में एक वकील के साथ सहायक के रूप में भी काम किया है।
बता दें कि लुधियाना के न्यू सुभाष नगर के सुनार रविंदर कुमार की नलके वाली गली में आरएन ज्वेलर्स नाम से दुकान है। उन्हों ने अपने यहां बतौर ड्राइवर काम करने वाले लुधियाना निवासी बलराज सिंह के साथ खन्ना निवासी दूसरे कर्मचारी राजन बावा को 10 जुलाई को दिल्ली से सोना लेने भेजा था।
10 जुलाई की रात करीब 9 बजे HR इंटरप्राइजेज करोल बाग नई दिल्ली से इन दोनों ने 10 किलो सोने की 10 प्लेटें लीं। प्रत्येक प्लेट का वजन 1 किलो था। सोने की प्लेटें लेने के दोनों ने रविन्द्री कुमार को फोन करके डिलीवरी लेने की बात कंफर्म करा दी। इसी दौरान हरियाणा मैत्री भवन रानी बाग दिल्ली के पास पहुंचने के बाद राजन बाबा ने उन्हें फिर से फोन आया। राजन बावा ने कहा कि एक I-20 कार उनका पीछा कर रही थी। इस गाड़ी से उन्हें घेर लिया गया। कार में से दो व्यक्ति निकले हैं, जिनमें से एक खुद को सेंट्रल GST का इंस्पेक्टर सतबीर सिंह तथा दूसरा रवि कुमार बता रहा है। तीन लोग गाड़ी में बैठे हैं। ये लोग सोने के बिल मांग रहे हैं।
पुलिस ने बताया कि रविंदर के अनुसार उसने राजन बावा के फोन पर वाट्सऐप कॉल के माध्यम से बात की तो खुद को GST अधिकारी बताने वालों ने बिल मांगे। उसने अधिकारियों से कहा कि बिल उसके पास हैं। बिल अगले दिन दफ्तर में लाने को कहा गया। 11 जुलाई को वे बिल लेकर दिल्ली चले गए। उसी दिन से राजन बावा उनके संपर्क में नहीं रहा।
वह अपने स्तर पर संबंधित GST दफ्तर में गए। वहां से उन्हें पता चला कि विभाग को सोने के बारे में कोई जानकारी नहीं है। इसके बाद उसे दाल में काला लगने लगा। वहीं, राजन बावा उसके संपर्क से बाहर रहा तो शक बढ़ गया। तभी उसने थाने में रानी बाग थाने जाकर शिकायत दर्ज कराई। 15 जुलाई को रानीबाग थाने में राजन बावा तथा बलराज सिंह के खिलाफ केस दर्ज किया गया।
हरियाणा और पंजाब में कई जगह रेड
दिल्ली पुलिस ने इस मामले में आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पंजाब और हरियाणा में कई जगह रेड की। फतेहगढ़ साहिब के सरहिंद में जग्गी रिजॉर्ट में से आरोपी सुशील कुमार उर्फ टोपी निवासी मकान नंबर 1251/C/440 ईशर नगर गली नंबर 2 सी ब्लॉक लुधियाना को गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने उसके कब्जेि से करीब आठ किलो सोने की प्ले ट बरामद की है जिनकी कीमत 4 करोड 80 लाख बताई गई है। लुधियाना की राजकोट अदालत में पेश कर दिल्लीक पुलिस सुशील कुमार टोपी को ट्राजिंट रिमांड पर दिल्लीन ले आई हें जहां उससे फरार साथी राजन बाबा व उसके पिता कश्मी र गिरी के बारे में जानकारी ली जा रही है। सुशील कुमार इस कांड का मास्टरमाइंड है। जबकि ये पूरी साजिश खन्ना में कश्मीर गिरी के घर पर रची गई थी।