गाजियाबाद। जिले के अलग-अलग चौराहों पर लगे उपद्रवियों के पोस्टर की जगह अब ‘शांति दूतों’ के पोस्टर लगाए जा रहे हैं. जिलाधिकारी अजय शंकर पांडेय ने बताया कि प्रदर्शन के दौरान कई लोगों ने भीड़ को समझाकर शांति का संदेश देने की कोशिश की.
‘प्रदर्शनकारियों को दिया शांति का संदेश’
जिलाधिकारी अजय शंकर पांडे ने कहा कि एक ओर जहां भीड़ में गुमराह हुए नौजवान थे, वहीं दूसरी ओर कई दुस्साहसी उपद्रवी भी थे. लेकिन कई लोगों ने भीड़ को समझाने-बुझाने, नियंत्रित करने और उनसे शांति बनाए रखने की अपील की. इन्होंने प्रशासन का भरपूर सहयोग किया. इसिलिए ऐसे तमाम ‘शांति दूतों’ के पोस्टर जिले के 26 मुख्य चौराहों पर लगाए गए हैं.
‘शांति दूतों’ ने की पहल की सराहना
शांतिदूत गयासउद्दीन सलमानी का कहना है कि प्रशासन की इस पहल से यह संदेश गया है कि अल्पसंख्यक समाज में जहां एक तरफ अशांति फैलाने वाले लोग हैं तो वहीं दूसरी तरफ अमन पसंद और शांति बनाए रखने वाले लोग भी हैं. वहीं जिला प्रशासन का मानना है कि इस मुहिम से न केवल अमन पसंद और शांतिप्रिय लोगों को पहचान मिलेगी बल्कि उपद्रवी और नकारात्मक मानसिकता रखने वाले लोग भी इन लोगों से प्रेरित होकर शांति के रास्ते पर चलेंगे.
20 दिसंबर को हुआ था प्रदर्शन
बता दें कि 20 दिसंबर यानी शुक्रवार को एक तरफ जनपद गाजियाबाद के कुछ इलाकों में शांति रही तो वहीं दूसरी तरफ मुरादनगर, कैला भट्टा, पासोंडा क्षेत्र में जरूर कुछ उपद्रवी तत्वों ने कानून-व्यवस्था भंग करने की कोशिश की थी. कैला भट्टा में स्वयं जिलाधिकारी ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के साथ पहुंचकर स्थिति सामान्य करने की कोशिश की थी.