लखनऊ। दुष्कर्म का केस वापस लेने से इन्कार पर केरोसिन डालकर जलाई गई उन्नाव की बिटिया की शुक्रवार रात मौत के बाद आम लोगों में गम और गुस्सा दोनों है। इसको लेकर शनिवार को सियासी हंगामा भी हो गया। विपक्ष के नेताओं ने यूपी की योगी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं ने घटना पर दुख प्रकट करते हुए सरकार से जल्द इंसाफ की मांग की है।
सपा मुखिया अखिलेश यादव विधानसभा के सामने धरने पर बैठ गए। सरकार पर तीखा हमला बोला। कहा कि आरोपी भाजपा से जुड़े हैं, इसलिए सरकार ने कार्रवाई नहीं की। अखिलेश के जाते ही कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने भाजपा मुख्यालय पर हल्ला बोल दिया। कुछ कार्यकताओं ने विधानसभा के सामने प्रदर्शन कर दिया। इस पर पुलिस ने हत्का बल प्रयोग कर सभी को खदेड़ा। इसी बीच दुष्कर्म पीड़िता के परिवार से मिलने के लिए प्रियंका वाड्रा उन्नाव पहुंच गई हैं। वहां उन्होंने परिवारीजन से मुलाकात कर सांत्वना दी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्नाव की घटना को अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण और बालिका की मृत्यु को अति दुखद बताया है। उन्होंने परिवार के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि सभी आरोपी गिरफ्तार हो चुके हैं। मुकदमे को फास्ट ट्रैक कोर्ट में ले जाकर दोषियों को कड़ी सजा दिलाई जाएगी। उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने भी घटना को बेहद दुर्भाग्यपूर्ण बताया है। उन्होंने कहा कि मैं पीड़ित परिवार को विश्वास दिलाता हूं कि हम दोषियों को नहीं बख्शेंगे, उन्हें जल्द से जल्द सजा दिलवाएंगे।
धरने पर बैठे अखिलेश, प्रियंका उन्नाव रवाना
दुष्कर्म पीड़िता के भाई ने पांचों आरोपितों को मौत की सजा देने की मांग की है। उनका कहना है कि इससे कम वह कुछ भी नहीं चाहते। अभी वह दिल्ली में हैं। दुष्कर्म पीड़िता का वहीं पोस्टमार्टम चल रहा है। इसके बाद उसके पार्थिव शरीर को उन्नाव लाया जाएगा। यहीं अंतिम संस्कार किया जाएगा। वहीं, दुष्कर्म पीड़िता के परिवार से मिलने के लिए प्रियंका वाड्रा उन्नाव के लिए रवाना हो गई हैं। इधर, उन्नाव मामले को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव विधान भवन के सामने दो मिनट का मौन रख धरने पर बैठ गए। इस दौरान उनके साथ राजेंद्र चौधरी व नरेश उत्तम भी मौजूद रहे। वहीं, अखिलेश के जाते ही कांग्रेस ने भाजपा मुख्यालय पर हल्ला बोल दिया। मुख्य द्वार पर टूट पड़े। कुछ कार्यकताओं ने विधानसभा के सामने प्रदर्शन कर दिया। पुलिस ने लाठियां फटकार कर भाजपा मुख्यालय से कांग्रेसियों को खदेड़ा।
इस सरकार में ना बेटियां सुरक्षित हैं ना उनका सम्मान: अखिलेश
पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा कि उन्नाव की घटना बहुत दुखद है। इस घटना की जितनी भी निंदा की जाए कम है। इस सरकार में ना बेटियां सुरक्षित हैं ना उनका सम्मान सुरक्षित है। क्या यही भारतीय जनता पार्टी का नारा था। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री, डीजीपी और होम सेक्रेटरी के हटे बिना कानून व्यवस्था में स्थापित नहीं हो सकता है। इतनी दुखद निंदनीय घटना कहीं नहीं हुई होगी। पहले पूरा देश हैदराबाद की घटना को लेकर गुस्से में था, उसके बाद उन्नाव की घटना उसी तरीके से हुई। ऐसी घटना भारतीय जनता पार्टी की सरकार में पहली नहीं है। इसके पहले भी सरकार से न्याय मांगने वाले लोगों की हत्या की गई है।
बसपा प्रमुख मायावती ने कहा- न्याय दिलाए यूपी सरकार
बहुजन समाज पार्टी के अध्यक्ष मायावती ने ट्वीट कर कहा कि ‘जिस उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता को जलाकर मारने की कोशिश की गई, उसकी कल रात दिल्ली में हुई दर्दनाक मौत अति कष्टदायक है। इस दुख की घड़ी में बीएसपी पीड़ित परिवार के साथ है। यूपी सरकार पीड़ित परिवार को समुचित न्याय दिलाने हेतु शीघ्र ही विशेष पहल करे, यही इंसाफ का तकाजा व जनता की मांग है। साथ ही ऐसी दर्दनाक घटनाओं को यूपी सहित पूरे देशभर में रोकने के लिए राज्य सरकारों को चाहिए कि वे लोगों में कानून का खौफ पैदा करें और केंद्र भी ऐसी घटनाओं को मद्देनजर रखते हुए दोषियों को निर्धारित समय के भीतर ही फांसी की सख्त सजा दिलाने का कानून जरूर बनाए।
प्रियंका ने कहा- खोखली हो चुकी यूपी की कानून व्यवस्था
कांग्रेस की प्रभारी महासचिव प्रियंका वाड्रा ने दुष्कर्म पीड़िता की मौत के बाद राज्य सरकार से कई सवाल किये हैं। उन्होंने ट्वीट कर पूछा है कि ‘उन्नाव की पिछली घटना को ध्यान में रखते हुए सरकार ने तत्काल पीड़िता को सुरक्षा क्यों नहीं दी गई? जिस अधिकारी ने उसका एफआइआर दर्ज करने से मना किया उस पर क्या कार्रवाई हुई? उप्र में रोज रोज महिलाओं पर जो अत्याचार हो रहा है, उसको रोकने के लिए सरकार क्या कर रही है?’
प्रियंका वाड्रा ने कहा कि ‘मैं ईश्वर से प्रार्थना करती हूं कि उन्नाव पीड़िता के परिवार को इस दुख की घड़ी में हिम्मत दे। यह हम सबकी नाकामयाबी है कि हम उसे न्याय नहीं दे पाए। सामाजिक तौर पर हम सब दोषी हैं, लेकिन ये उत्तर प्रदेश में खोखली हो चुकी कानून व्यवस्था को भी दिखाता है। उन्नाव में जलाई गई दुष्कर्म पीड़िता की बुआ का घर रायबरेली के लालगंज क्षेत्र में है। प्रियंका वाड्रा ने शुक्रवार रात इस बारे में जानकारी भी ली थी।
43 घंटे मौत से लड़ी उन्नाव की बेटी
गुरुवार (5 दिसंबर, 2019) तड़के करीब 4:30 बजे 25 वर्षीय युवती दुष्कर्म के मामले में पैरोकारी के लिए रायबरेली जा रही थी। रास्ते में छह दिन पहले ही जमानत पर छूटा दुष्कर्म का मुख्य आरोपित शिवम त्रिवेदी मिला। इसी ने युवती को शादी का झांसा देकर लालगंज में रखा था। आरोप है कि उसने दोस्त शुभम के साथ दुष्कर्म किया और इसका वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करते रहे। शादी का इकरारनामा भी किया, पर शादी नहीं की। शादी का झांसा देकर दुष्कर्म का जब उसने शिवम व शुभम पर मुकदमा लिखा दिया। शिवम इसी केस में नौ महीने रायबरेली जेल में रहकर 30 नवंबर को ही छूटा था। बाहर आते ही उसने केस वापस लेने का दबाव बनाया। इन्कार करने पर उसने व उसके चार साथियों ने केरोसिन डालकर जला डाला। आग की लपटों में घिरी युवती आधा किलोमीटर तक जान बचाते दौड़ी थी। उसके बयान के आधार पर सभी आरोपित गुरुवार को ही गिरफ्तार कर लिए गए थे। 43 घंटे तक उसने जिंदगी के लिए संघर्ष किया, लेकिन दिल्ली के सफदरजंग हॉस्पिटल में शुक्रवार रात 11:40 बजे उसकी मौत हो गई।